Shila Prameha Vati uses in hindi, शिला प्रमेह वटी के फायदे और बनाने की विधि

शिला प्रमेह वटी के फायदे, घटक द्रव्य, निर्माण विधि, मात्रा और सेवन विधि.

Shila Prameha Vati uses in hindi, शिला प्रमेह वटी के फायदे और बनाने की विधि

शिला प्रमेह वटी के फायदे, घटक द्रव्य, निर्माण विधि, मात्रा और सेवन विधि.

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शिला प्रमेह वटी (Shila Prameha Vati)

शिला प्रमेह वटी के घटक द्रव्य (Ingredients of Shila Prameha Vati )

- मधुमेह दमन चूर्ण 20 ग्राम, शुद्ध शिलाजीत 10 ग्राम तथा प्रमेह गजकेसरी , गिलोय सत्व, आमलकी रसायन और तेजपान - 5 -5 ग्राम.

भावना द्रव्य - सालसारादीगण क्वाथ 30 ग्राम, कुटकी 5 ग्राम, हरिद्रा 10 ग्राम.

शिला प्रमेह वटी बनाने की विधि ( Shila Prameha Vati preparation method )

भावना द्रव्यों को जौ कूट करके एक गिलास पानी में डाल कर उबालें. एक कप रह जाने पर उतार कर छानें और ऊपर लिखे घटक द्रव्यों को कूट पीस कर बारीक़ चूर्ण करके खरल में डाल दें और उसमे भावना द्रव्यों का काढ़ा डाल कर तब तक घुटाई करें जब तक सारे द्रव्य मिल कर एक जान न हो जाएँ. फिर आधा-आधा ग्राम की गोलियां बनाकर छाया में सूखा कर शीशी में भर लें.

शिलाप्रमेह वटी मात्रा व् सेवन विधि (Shilaprameha vati quantity and dosage ) :-

2 -2 गोली सुबह शाम फीके दूध या ठन्डे पानी के साथ लें.

शिलाप्रमेह वटी के फायदे व् स्वस्थ लाभ (Advantages and health benefits of Shila Prameha Vati ) :-

शिला प्रमेह वटी के सेवन से मधुमेह रोग के कारण उत्पन्न हुई और बढ़ी हुई शर्करा पर नियंत्रण हो जाता है . इस योग के सेवन से अग्नाशय सबल होकर पर्याप्त मात्रा में इन्सुलिन बनाने लगता है. शिला प्रमेह वटी इसी नाम से बनी बनायीं आयुर्वेदिक दवाई की दुकानों पर उपलब्ध होती है.

 

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