Shankhpushpi Vati uses in hindi,शंखपुष्पी वटी के फायदे और बनाने की विधि लिस्ट

शंखपुष्पी वटी के फायदे, घटक द्रव्य, निर्माण विधि, मात्रा और सेवन विधि.

Shankhpushpi Vati uses in hindi,शंखपुष्पी वटी के फायदे और बनाने की विधि

शंखपुष्पी वटी के फायदे, घटक द्रव्य, निर्माण विधि, मात्रा और सेवन विधि.

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शंखपुष्पी वटी (Shankhpushpi Vati)

विद्यार्थी छात्र छात्राएं , अध्यापक , प्रोफेसर , डॉक्टर , वकील , इंजिनियर , व्यवसायी आदि दिमागी व् मानसिक काम करने वालों का सारा दारोमदार दिमागी ताकत और अच्छी याददाश्त पर होता है . ऐसी सभी स्त्री पुरुषों के लिए एक श्रेष्ठ आयुर्वेदिक दवा है जिसका नाम है - शंखपुष्पी वटी . शंखपुष्पी वटी ऐसी आयुर्वेदिक दवा है जो दिमागी ताकत देने के साथ - साथ कई अन्य लाभ भी देती है . Biovatica के इस आर्टिकल में शंखपुष्पी वटी का सम्पूर्ण विवरण दिया जा रहा है .

 

शंखपुष्पी वटी के घटक द्रव्य (ingredients of Shankhpushpi Vati ) :-

 

शंखपुष्पी व् अश्वगंधा 100 -100 ग्राम ; ब्राह्मी , मुलहठी , गिलोय , शतावरी , भृंगराज , वचा - सब 50 -50 ग्राम ; स्मृतिसागर रस , स्वर्णमाक्षिक भस्म , ज्योतिष्मती रसायन - 25 -25 ग्राम . भावना द्रव्य - बला , कूठ 100 -100 ग्राम तथा आमलकी रसायन 50 ग्राम .

 

शंखपुष्पी वटी बनाने की विधि (Shankhpushpi vati preparation method):-

 

भावना द्रव्यों को मिलाकर मोटा मोटा कूट कर 2 लीटर पानी में उबालें . जब पानी 1 लीटर रह जाये तब उतार कर कपडे से छान लें और पानी को फिर उबालें . जब पानी 250 मिली . बचे तब उतार कर ठंडा कर लें . सब द्रव्यों को अलग अलग कूट पीस कर बारीक़ चूर्ण करके इस पानी में इस तरह मिलाएं की ज्यादा पतला ना हो , गाढ़ा - गाढ़ा रहे . इसे खरल में डालकर खूब घोंटें और गोली बनाने लायक करके २ - २ रत्ती ( २५० मिग्रा .) की गोलियां बनाकर छाया में सूखा लें .

 

शंखपुष्पी वटी मात्रा और सेवन विधि (Shankhpushpi vati quantity and dosage):-

शंखपुष्पी वटी की वयस्क 2 -2 गोली और बच्चे १ गोली सुबह शाम पानी या मीठे कुनकुने गर्म दूध के साथ 3 -4 माह तक सेवन करें .

 

शंखपुष्पी वटी के फायदे , लाभ व् उपयोग (Shankhpushpi vati uses and benefits in Hindi ) :-

 

शंखपुष्पी वटी एक ऐसी आयुर्वेदिक दवा है जो दिमागी ताकत और स्मरणशक्ति अर्थात याददाश्त बढ़ाने के लिए बहुत उत्तम औषधि है . शंखपुष्पी वटी के सेवन से दिमाग तेज़ होता है , याददाश्त अर्थात मेमोरी अच्छी होती है , स्नायविक संसथान को बल मिलता है , मानसिक थकावट नहीं होती , उच्च रक्तचाप एवं अनिद्रा के रोगी को फायदा होता है और उन्हें अच्छी गहरी नींद आती है .

 

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